kuchh pal ki bate

Posted on 18th Feb 2020 by sangeeta

कुछ पल की बातें, कैसे दोस्ती में बदल गई पता नहीं चला।

कुछ हंसाने कुछ तराने याद आते है, तेरे साथ बिताए हुए सारे पल याद आते।

ए दोस्त मैं जब तेरे साथ होता था, तो पता नहीं कब सुबह से शाम हो जाती थी।

अब हर पल ऐसा लगता है ए दोस्त, जैसे समय रुक सा गया है।

राह में चलते चलते मंजिलें तो मिल गई, लेकिन तेरी दोस्ती छूट गई।

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